एक भिखारी से सीखी मेने इंग्लिश (inspirational
ULTIMATE STORY OF BIGGER IN HINDIstory)
प्रेणा के लिए इस लिंक स्टोरी भी है जिससे आप को inspiration मिलेगा |
आज मैं आपको ऐसा सच बताऊंगा की आप हेरत हो जाएंगे। की ये वाक्य हमने देखा है महसूस किया है पर इसे बदल नही सकते और तो और ये हमारे देश को खोखला करने में अहम् भूमिका निभा रहा है। देश की आर्थिक से सामाजिक व्यवस्था को निचोड़ रहा है। नजाने क्यों देश की सरकार और पढ़े लिखे बड़े पद पर बैठे लोग उस पर सुला क्यों नही कर रहे है।
मैं अपना एक्सपेरिंस आप के साथ साजा करता हूँ। मेने उन लोगो को देखा है जो भिखारी है पर अपना गुजारा करने के लिए एक दार्शनिक स्थान पर बासुरी को बेच रहे है और अंग्रेजी में ऐसे अंग्रेजो को कॉन्वेंस कर रहे है मानो जैसे कोई विदेशी हो।
में ये सोच कर हैरत था कि हमारे देश के करीब 50% लोग की इंग्लिश समझ और बोल पाते है। आज इंग्लिश में देश के भिखारी अंग्रेजो को कॉन्वेंस कर रहे है। और दूसरी तरफ देश की गवर्मेन्ट स्कूल में 60-70 हजार गवरमेंट की तंखुवा उठाने वाले अधयापक को इंग्लिश में बच्चो को पाठ पढ़ाने नही आता है।
ये बात बिलकुल सत्य है, भारत देश के हालात बोहत ही गंभीर है। बिचारे माता- पिता अपने बच्चे को स्कूल भेजते ताकि वे अपने बच्चे को बढ़ा अधिकारी बनते देख सके। आज भी भारत के आदिवासी इलाकों में जगहे जगहे स्कूल बनाये गये है। पर आदिवासी बच्चो को शिक्षा नही दी।
ULTIMATE STORY OF BIGGER IN HINDIदेश का पढ़ा लिखा युवा तो prank बना कर सड़को पे नाटक कर रहा है और देश में 8वी और 9वीं फ़ैल इंसान देश के बड़े औंधे पे बैठ कर देश के पढ़े लिखे युवाओ के भविष्य के साथ खेल रहे है।
देश में नेट फ्री कर दिया गया है, पर भिखारी के लिए रोजगार और आटा फ्री नही किया व्हा क्या देश के लोगो के आखो में धूल जोखने का काम कर रहे है,ये देश के मंत्री और प्रजा तंत्र वाले, इसी तरह करते रहे तो देश में हालात और गंभीर हो जाएंगे।
देश के सारे युवा से प्राथना करता हु की मेरा ये संदेश ब्लॉग के माधियम से अपने ग्रुप में शेयर जरूर करे आप।
ताकि सभी भारतीय भाइयो को पता लग जाए की हम सब एक है कोई ऊपर नीचे नही है। देश में हर कानून व्यवस्था ये अशिक्षित लोग के हाथ में है और ये लोग देश के पढ़े लिखे युवा का भविष्या निर्धारित कैसे कर सकते है, इन्हें किसी प्रकार का अफहिकार नही है जिस प्रकार एक अमीर से टैक्स वसूला जाता है उसी प्रकार भिखारी के हर बच्चे को उच्च शिक्षा देना भी भारतीय का अधिकार होना चाइये।
जिस प्रकार मेने देखा की देश का टेलेंट तो सड़को पे भीख मांग कर मौत से झुंझ रहा है। और दूसरी तरफ अशिक्षित लोग देश का भविष्य लिख रहे है।
मुझे एक पंक्ति याद आ रही है कि जब भारत में भीमराव आंबेडकरजी ने देश के लिए नया संविधान लिख रहे थे। तब ब्रिटिश अधिकारी williams charchil ने कहा था कि, बनाने दो भारतीयों को अपना संविधान भारत में इतनी जाती प्रथा और भेद भाव है कि संविधान बनाने पर भी कभी भी भारतीय एक नही हो पाएंगे। और 10 साल बाद भीमराव आंबेडकर जी खुद उनकी बात से सहमत हुए थे ,
भीमराव जी का मानना था, की देश को अगर कोई नई दिशा दे सकता है तो सिर्फ दष की पढ़ी लिखी युवा ही देश को एक और मजबूत बना सकती है।
लेकिन भारत में बदलती सरकारों ने भारत के एजुकेशन को इस कदर ख़तम कर दिया की 1947 से अभी तक भारत के भिखारियों को भीख ख़तम नही हुई। और में मानता हूं कि असल टेलेंट उन भिखारी बच्चो में ही है पर उन बच्चो को सही राह नही मिल पा रही है,
देश के हालात बोहत गंभीर है मेरे भारतीयों उठो जागो और देश को चाइना के देश वासियों की तरह अपने भारत को भी नई ऊंचाई तक लाने में साथ दीजिये।
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